
न्यूज़ खबर इंडिया
जौनपुर। शिक्षा की गुणवत्ता को धरातल पर परखने के उद्देश्य से जिला बेसिक शिक्षा अधिकारी डॉ. गोरखनाथ पटेल ने सोमवार को जनपद के विभिन्न विद्यालयों का औचक निरीक्षण किया। निरीक्षण के दौरान कई विद्यालयों में शैक्षणिक व प्रशासनिक स्तर पर गंभीर लापरवाही पाई गई, जिस पर बीएसए ने तत्काल कठोर कार्रवाई करते हुए कई शिक्षकों का वेतन रोक दिया तथा स्पष्टीकरण के निर्देश दिए।
सरैंया कठार विद्यालय में नाम मात्र की छात्र उपस्थिति
मड़ियाहूं विकासखंड स्थित प्राथमिक विद्यालय सरैंया कठार के निरीक्षण में पाया गया कि प्रधानाध्यापिका श्रीमती बीनू सिंह बाल्य देखभाल अवकाश पर थीं, लेकिन सहायक अध्यापक राघवेंद्र सिंह एवं श्रीमती मीरा यादव बिना किसी पूर्व सूचना के अनुपस्थित मिले। बीएसए ने दोनों शिक्षकों का निरीक्षण तिथि का वेतन अवरुद्ध कर दिया है।
विद्यालय में कुल नामांकित 67 छात्रों में से मात्र 10 छात्र उपस्थित थे, जबकि भोजन पंजिका में पूर्व के तीन कार्य दिवसों में क्रमशः 45, 47 व 43 छात्र उपस्थित दर्शाए गए थे, जिससे उपस्थिति में हेराफेरी की आशंका जताई गई। रंगाई-पुताई न पाए जाने पर प्रधानाध्यापक को कारण बताओ नोटिस जारी किया गया।
कटाहित खास विद्यालय में शिक्षकों की गैरहाजिरी पं. जवाहरलाल नेहरू उच्च प्राथमिक विद्यालय कटाहित खास के निरीक्षण के दौरान केवल परिचारक बृजेश कुमार उपस्थित मिले। प्रधानाध्यापक नागेंद्र प्रताप सहित अशोक कुमार, उदयराज और विनोद कुमार अनुपस्थित पाए गए। बीएसए ने इन सभी शिक्षकों का वेतन अग्रिम आदेश तक अवरुद्ध करते हुए कारण बताओ नोटिस जारी किया।
कटाहित खास के प्राथमिक विद्यालय में भी बदहाल स्थिति
इसी गांव के प्राथमिक विद्यालय कटाहित खास (विकासखंड मछलीशहर) में सहायक अध्यापक महेंद्र प्रसाद अनुपस्थित पाए गए। विद्यालय में 111 नामांकित बच्चों में से केवल 6 ही उपस्थित थे। कंपोजिट ग्रांट के तहत मिले ₹50,000 की धनराशि पूर्णतः खर्च कर दी गई, किंतु व्यय विवरण उपलब्ध नहीं था। बीएसए ने प्रधानाध्यापक को निर्देशित किया कि वे एक सप्ताह के भीतर व्यय का ब्योरा एवं भौतिक कार्यों की प्रगति रिपोर्ट प्रस्तुत करें।
भुवा खुर्द विद्यालय समय से पहले बंद, पूरे स्टाफ का वेतन रोका गया
कंपोजिट विद्यालय भुवा खुर्द (विकासखंड सिकरारा) के निरीक्षण में विद्यालय बंद पाया गया। स्थानीय दुकानदारों ने बताया कि विद्यालय दोपहर 1 बजे ही बंद कर दिया गया था। इस गंभीर लापरवाही पर बीएसए ने विद्यालय के समस्त कर्मचारियों का वेतन अग्रिम आदेश तक रोक दिया है।
कठोर कार्रवाई की चेतावनी
निरीक्षण के उपरांत बीएसए डॉ. गोरखनाथ पटेल ने स्पष्ट शब्दों में कहा कि “शैक्षणिक गुणवत्ता की गारंटी तभी संभव है जब शिक्षक अनुशासन और उत्तरदायित्व का पालन करें। जो भी शिक्षक या कर्मचारी इस दायित्व में लापरवाही बरतेगा, उसके खिलाफ सख्त कार्रवाई की जाएगी।”