आज़मगढ़उत्तरप्रदेश

जांच में पांच शिक्षिकाओं की नियुक्ति पाई गई थी फर्जी

पांच शिक्षिकाओं की नियुक्ति को किया निरस्त

 

न्यूज़ खबर इंडिया 

आजमगढ़। सगड़ी तहसील के सरदहां स्थित श्रीमती परमा देवी जायसवाल बालिका विद्यालय में पांच शिक्षिकाओं की फर्जी नियुक्ति का मामला सामने आने के बाद हाईकोर्ट के हस्तक्षेप से कार्रवाई तेज हो गई है। शिक्षा निदेशक (बेसिक) ने फर्जी नियुक्ति को निरस्त कर दिया और दोषी प्रबंधक तथा वेतन जारी करने वाले अधिकारियों के खिलाफ कार्रवाई का आदेश दिया है।

नव जागृति सेवा संस्थान की शिकायत पर संयुक्त शिक्षा निदेशक (माध्यमिक) ने जांच की, जिसमें पांच शिक्षिकाओं नमिता जायसवाल, चंदा शुक्ला, उर्मिला यादव, वंदना यादव और सुमन यादव की नियुक्ति फर्जी पाई गई। जांच के आधार पर जिला बेसिक शिक्षा अधिकारी (बीएसए) राजीव पाठक ने 12 मार्च 2025 को सिधारी थाने में मुकदमा दर्ज कराया। इसके बावजूद शिक्षिकाएं स्कूल आती रहीं और उनका वेतन भी जारी रहा।

अगस्त में बीएसए ने इन शिक्षिकाओं को स्कूल आने से रोकने का पत्र जारी किया। इसके बाद नमिता जायसवाल ने हाईकोर्ट में याचिका दायर की। हाईकोर्ट ने शिक्षा निदेशक (बेसिक) को तलब किया। सुनवाई से पहले ही शिक्षा निदेशक ने इन शिक्षिकाओं की नियुक्ति रद्द कर दी और हाईकोर्ट को जांच रिपोर्ट के साथ कार्रवाई की जानकारी दी। फर्जी नियुक्ति करने वाले प्रबंधक और वेतन जारी करने वाले अधिकारियों के खिलाफ सख्त कार्रवाई का आदेश दिया है।

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